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 रेवाड़ी: कंपनी में झुलसे कर्मचारियों की मौत का बढ़ा आंकड़ा, 2 और कर्मचारियों ने तोड़ा दम

 
रेवाड़ी: boiler blast

Rewari company: रेवाड़ी की एक कंपनी में बॉयलर फटने से हुए हादसे में मरने वालों की संख्या अब 16 हो चुकी है। हादसे के 15 दिन बाद दो और लोगों ने दम तोड़ दिया। मृतकों में बिहार निवासी कन्हैया (24) और यूपी के कासगंज निवासी मुकेश (20) शामिल हैं।

जिम्मेदार कौन ?

हादसे को हुए 15 दिन बीत जाने के बाद आज भी बड़ा सवाल यह है कि आखिर इस हादसे का जिम्मेदार कौन है? मामले में अब तक कोई गिरफ्तारी क्यों नहीं हुई? जबकि श्रमिकों ने पुलिस में जो रिपोर्ट दर्ज कराई है, उसमें कंपनी प्रबंधन और ठेकेदार की लापरवाही का साफ-साफ जिक्र है।

15 दिनों में मरने वालों की लिस्ट

इस हादसे में मरने वाले ज्यादातर लोग यूपी और बिहार के रहने वाले हैं। जिनमें बहराइच निवासी दिनेश (20), सिखरोना निवासी घनश्याम (25), गोंडा निवासी मनोज कुमार (25), अयोध्या निवासी अमरजीत (35), देवानंद (22), मैनपुरी निवासी अजय (32), बहराइच निवासी विजय (37), गोरखपुर निवासी रामू (27), फैजाबाद निवासी राजेश (38), पंकज (35), बिहार निवासी सल्लू (22), नॉर्थ ईस्ट के सबोली में नंदनगरी मंडोली निवासी दयाशंकर (42), बहराइच निवासी नीरज (26), बिहार के मुज्फ्फरफुर निवासी सूरज मोहन (30), बिहार निवासी कन्हैया (24) और यूपी के कासगंज निवासी मुकेश (20) की मौत हो चुकी है।

कंपनी प्रशासन की लापरवाही ने ली जान

16 मार्च की शाम धारूहेड़ा स्थित लाइफ लॉन्ग कंपनी में बॉयलर फट गया था। इसमें यूपी के जिला गोंडा का राजकुमार (24) भी झुलसा था। उसने बताया कि 16 मार्च को करीब 60-70 कर्मचारी कंपनी में काम कर रहे थे। शाम 5.45 पर बॉयलर डस्ट कलक्टर फट गया। ये बॉयलर डस्ट कलक्टर पहले भी दो बार फट चुका था।

अब तक नहीं हुई कोई गिरफ्तारी

जैसे-जैसे श्रमिकों की मौत का आंकड़ा बढ़ा तो पुलिस ने FIR में धाराएं भी बदल दीं। पहले धारा 287, 337, 34 आईपीसी के तहत केस दर्ज किया गया था, लेकिन इसके बाद इस केस में धारा 304 (2) और 308 धाराएं जोड़ी गईं। इस केस में जो आईपीसी की धारा 304 लगाई है, उसमें 10 साल से ऊपर की सजा का प्रावधान है। हालांकि बड़ा सवाल ये कि अभी तक इस हादसे के जिम्मेदार का पता चला और न ही किसी की गिरफ्तारी हुई।